नई दिल्ली : उत्तर रेलवे ने दिल्ली मंडल के पुराने लोहे के यमुना पुल (ब्रिज संख्या 249) पर ट्रैफिक मूवमेंट सुरक्षा कारणों से पूरी तरह रोक दिया है। पुल की जर्जर स्थिति को देखते हुए यह कदम उठाया गया, जिसके चलते राजधानी और आसपास के इलाकों में रेल सेवाएं अस्त-व्यस्त हो गई हैं।
उत्तर रेलवे के अनुसार, इस पुल पर संचालन बंद होने से 50 से अधिक ट्रेनों को रद्द, 40 से ज्यादा डायवर्ट, 15 से अधिक ट्रेनों को शॉर्ट-ओरिजिनेट और लगभग 20 ट्रेनों को शॉर्ट-टर्मिनेट करना पड़ा है। यानी सैकड़ों यात्री प्रतिदिन प्रभावित हो रहे हैं।
दिल्ली मंडल से रोजाना हजारों यात्री सहारनपुर, शामली, गाजियाबाद और आसपास के इलाकों की यात्रा करते हैं। अचानक हुए इस फैसले से यात्रियों को खासी परेशानी उठानी पड़ रही है। भीड़ को संभालने के लिए रेलवे ने कुछ गाड़ियों को पास के स्टेशनों से शॉर्ट-ओरिजिनेट किया है, लेकिन यात्रियों को समय पर जानकारी न मिलने से असुविधा बढ़ गई है।
राजधानी से सहारनपुर और शामली के बीच चलने वाली अधिकांश पैसेंजर और ईएमयू ट्रेनें बंद कर दी गई हैं। दिल्ली जंक्शन–सहारनपुर एक्सप्रेस (14545), दिल्ली–शामली स्पेशल (4413), दिल्ली–सहारनपुर मेमू (64557, 64027) सहित कई ट्रेनों को या तो रद्द कर दिया गया या शाहदरा और साहिबाबाद से चलाया जा रहा है।
यमुना पुल बंद होने का असर लंबी दूरी की ट्रेनों पर भी पड़ा है। पद्मावत एक्सप्रेस (14208), कैफियत एक्सप्रेस (12226), गरीब नवाज़ एक्सप्रेस (15716), रानीखेत एक्सप्रेस (15013), मसूरी एक्सप्रेस (14041), कलिंदी एक्सप्रेस (14118), फरक्का एक्सप्रेस (15744) और ब्रहमपुत्र मेल (15657) जैसी गाड़ियों को दिल्ली सराय रोहिल्ला, सब्ज़ी मंडी, हजरत निजामुद्दीन और साहिबाबाद होकर गुजारा जा रहा है। साथ ही लगभग 20 ट्रेनें अपने गंतव्य तक नहीं पहुंच सकीं।
उन्हें शाहदरा, आनंद विहार टर्मिनल और गाजियाबाद जैसे स्टेशनों पर ही रोक दिया गया। इनमें सहारनपुर-दिल्ली (64024, 64028), अलीगढ़–दिल्ली मेमू (64151) और हरिद्वार–दिल्ली एक्सप्रेस (14303) जैसी गाड़ियां भी शामिल हैं।
उत्तर रेलवे ने कहा है कि स्थिति सामान्य होने तक कई ट्रेनों की समय सारणी और रूट बदले रहेंगे। यात्रियों से अपील की गई है कि यात्रा से पहले अपनी ट्रेन का स्टेटस एनटीईएस पोर्टल या 139 नंबर पर कॉल कर जरूर जांच लें।
आईएसबीटी कश्मीरी गेट, सिविल लाइंस और यमुना बाजार में बाढ़ का 4 से 10 फीट तक पानी भर गया है। यमुना बाजार की हालत सबसे ज्यादा खराब है। इसके अलावा कई और कॉलोनियों में भी सीवर ओवरफ्लो हो रहे हैं। हालांकि, राहत की बात ये है कि यमुना का पानी धीमा ही सही लेकिन कम होना शुरू हो गया है। बृहस्पतिवार को यमुना का जलस्तर करीब 5 सेमी नीचे चला गया।
यमुना के पास आउटर रिंग रोड को पार कर बाढ़ का पानी बेला रोड सिविल लाइंस की रिहायशी कॉलोनियों को भी आगोश में ले चुका है। पूरी कॉलोनी में सन्नाटा पसरा है। अधिकतर घरों से निकलकर लोगों ने सुरक्षित जगहों पर शरण ली है। कॉलोनी में करीब चार फीट तक पानी भरा हुआ है। यमुना बाजार पहले दिन से डूबने लगा था बृहस्पतिवार को यहां करीब 7 फीट तक पानी भर गया। यहां बनाए गए राहत शिविरों को भी दूसरी जगह पर शिफ्ट कर दिया गया है।
यमुना का वेग अभी बहुत ज्यादा है और पानी घटने की गति धीमी है। वजीराबाद से ओखला बैराज तक यमुना का डाउन स्ट्रीम क्षेत्र माना जाता है। मौजूदा समय हथिनीकुंड बैराज से करीब 1.5 लाख क्यूसेक पानी हर घंटे छोड़ा जा रहा है जबकि दिल्ली में वजीराबाद और ओखला बैराज से करीब 2 लाख क्यूसेक पानी हर घंटे बाहर निकल रहा है इसलिए पानी की गति दिल्ली में बहुत ज्यादा है। पानी तेजी से आगे बढ़ रहा है।
बृहस्पतिवार को सुबह 7 बजे इस सीजन का सबसे अधिक जलस्तर 207.48 मीटर दर्ज किया गया जो शाम पांच बजे तक 207.43 मीटर रह गया। दिन में पानी नहीं बढ़ा।
जलस्तर बढ़ने के कारण दिल्ली में यमुना में गिरने वाले नालों को एहतियातन बंद कर दिया गया है। अब स्थिति ये है कि घरों से और लगातार हो रही बारिश से निकलने वाला शहर का पानी निचले इलाकों में सीवर से ओवरफ्लो होने लगा है। यदि बाढ़ की स्थिति इसी तरह बनी रही तो दिल्ली के रिहायशी इलाके डूबने शुरू हो जाएंगे।