यूजर्स के डेटा का भूखा है क्रोम ब्राउजर, निजी जानकारी भी करता है स्टोर

Chrome-Data

नई दिल्ली : हाल ही में एक अमेरिकी अदालत ने Google के खिलाफ चल रहे एक मामले में टिप्पणी की कि कंपनी वेब ब्राउजर और सर्च के क्षेत्र में अनुचित दबदबा बनाए हुए है, जिससे अन्य कंपनियों की वृद्धि नहीं हो पा रही है। अदालत ने Google को दो विकल्प दिए।

इनमें से एक यह है कि या तो वह अपना ब्राउजर Chrome बेच दे, या फिर अपने सर्च डेटा (जैसे इंडेक्स और रिजल्ट्स) को प्रतिद्वंद्वियों के साथ साझा करे, ताकि वे भी उन्नत सर्च टूल विकसित कर सकें, हालांकि Google ने इस प्रस्ताव का विरोध किया और कहा कि इससे यूजर्स की संवेदनशील व्यक्तिगत जानकारी लीक हो सकती है।

अब एक नई रिपोर्ट ने Google की इस चिंता को कुछ हद तक सही ठहरा दिया है। साइबर सुरक्षा कंपनी Surfshark की रिपोर्ट के मुताबिक, Google Chrome दुनिया का सबसे ज्यादा व्यक्तिगत डेटा इकट्ठा करने वाला ब्राउजर है। Chrome आपके फोन की कॉन्टैक्ट लिस्ट, वित्तीय जानकारियां, लोकेशन डेटा, ब्राउजिंग और सर्च हिस्ट्री, फोटो-वीडियो जैसी मीडिया फाइलें, ऑडियो रिकॉर्डिंग और डिवाइस/यूजर ID जैसे कई पहचानकर्ता जुटाता है।

Surfshark के चीफ सिक्योरिटी ऑफिसर टोमस स्टामुलिस ने कहा, “ब्राउजर अक्सर बेहतर यूज़र अनुभव के नाम पर डेटा इकट्ठा करते हैं। लेकिन हमारी नई स्टडी यह याद दिलाती है कि यूजर्स को अपने ब्राउजर की परमिशन सेटिंग्स की जांच जरूर करनी चाहिए।”

रिपोर्ट में बताया गया है कि डेटा संग्रह के मामले में Chrome पहले नंबर पर है, जो 20 अलग-अलग श्रेणियों से जानकारी जुटाता है। इसके बाद Bing एप आता है, जो 12 प्रकार की जानकारी जुटाता है। वहीं दूसरी ओर, Tor ब्राउजर बिल्कुल भी व्यक्तिगत डेटा नहीं जुटाता और सबसे गोपनीय ब्राउजर के रूप में सामने आया है।

Brave ब्राउजर भी प्राइवेसी के मामले में Tor के बाद सबसे बेहतर विकल्प माना गया है। Firefox और DuckDuckGo ब्राउजर गोपनीयता और कार्यक्षमता के बीच संतुलन बनाए रखते हैं। वे केवल सत्र से जुड़ी सीमित जानकारी और बुनियादी डाइग्नोस्टिक्स जुटाते हैं।