नई दिल्ली : नागरिक उड्डयन मंत्रालय के सचिव समीर कुमार सिन्हा ने बताया, “12 जून को दोपहर करीब 2 बजे हमें सूचना मिली कि अहमदाबाद से गैटविक लंदन जा रहा विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया है. हमें तुरंत एटीसी अहमदाबाद के जरिए इस बारे में विस्तृत जानकारी मिली. यह एआईसी 171 था और इसमें कुल 242 लोग सवार थे, जिसमें 230 यात्री, 2 पायलट और 10 क्रू मेंबर शामिल थे.
इस विमान ने दोपहर 1:39 बजे उड़ान भरी और कुछ ही सेकंड में करीब 650 फीट की ऊंचाई पर पहुंचकर यह नीचे गिरने लगा, यानी इसकी ऊंचाई कम होने लगी. दोपहर 1:39 बजे पायलट ने अहमदाबाद एटीसी को सूचना दी कि यह May Day है, यानी पूरी तरह से इमरजेंसी है. एटीसी के मुताबिक जब उसने विमान से संपर्क करने की कोशिश की तो उसे कोई जवाब नहीं मिला. ठीक 1 मिनट बाद यह विमान मेधानीनगर में दुर्घटनाग्रस्त हो गया, जो एयरपोर्ट से करीब 2 किमी की दूरी पर स्थित है. विमान के कैप्टन सुमित सभरवाल थे और फर्स्ट ऑफिसर क्लाइव सुंदर थे.
जहां तक विमान के पूरे इतिहास की बात है, इस दुर्घटना से पहले विमान ने पेरिस-दिल्ली-अहमदाबाद सेक्टर को बिना किसी घटना के पूरा कर लिया था. दुर्घटना के कारण दोपहर 2:30 बजे रनवे को बंद कर दिया गया और सभी प्रोटोकॉल पूरे करने के बाद शाम 5 बजे से अहमदाबाद के रनवे को सीमित उड़ानों के लिए खोल दिया गया.”
केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू किंजरापु ने कहा, “हमारे देश में सुरक्षा के बहुत सख्त मानक हैं, जब यह घटना घटी, तो हमें भी लगा कि बोइंग 787 सीरीज की विस्तृत निगरानी की जरूरत है. डीजीसीए ने भी 787 विमानों की विस्तृत निगरानी करने का आदेश दिया है. आज हमारे भारतीय विमान बेड़े में 34 विमान हैं. मेरा मानना है कि 8 विमानों की पहले ही जांच हो चुकी है और तत्काल सभी विमानों की जांच की जाएगी.”
केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू किंजरापु ने कहा, “अपनी जान गंवाने वाले लोगों की स्टोरी देखना बहुत ही दुखद है. हमने एयर इंडिया को निर्देश दिया है कि वह यात्रियों के परिवारों को हर संभव सहायता प्रदान करे. एक तरफ डीएनए परीक्षण भी हो रहा है ताकि शवों की पहचान की जा सके और उन्हें संबंधित परिवारों को दिया जा सके.
गुजरात सरकार इसके साथ समन्वय कर रही है. डीएनए परीक्षण की पुष्टि होने के बाद शवों को संबंधित परिवारों को दिया जाएगा और हम उम्मीद कर रहे हैं कि यह प्रक्रिया भी जल्द से जल्द पूरी हो जाएगी, लेकिन दस्तावेजीकरण और प्रक्रिया का पालन किया जाना चाहिए. हम यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि प्रक्रिया या प्रोटोकॉल में कोई चूक न हो.”