नई दिल्ली : पंचांग के अनुसार आश्विन माह में शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को दशहरा का पर्व मनाया जाता है। इसे विजयदशमी और रावण दहन के नाम से भी जाना जाता है। शास्त्रों में इस दिन को बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक माना गया है। मान्यताओं के अनुसार इसी दिन प्रभु श्री राम ने लंकापति रावण का वध कर माता सीता को उसके चंगुल से छुड़ाया था। इस दिन देशभर में रावण, कुंभकर्ण और मेघनाथ के पुतलों का दहन किया जाता है।
मान्यता है कि इस दिन सभी को भगवान श्रीराम की पूजा करनी चाहिए। साथ ही रामायण का संपूर्ण पाठ करें। इससे जीवन में सुख-समृद्धि बनी रहती हैं। ज्योतिषियों के मुताबिक इस दिन श्री राम, मां दुर्गा, श्री गणेश और हनुमान जी की आराधना करने से शत्रुओं पर विजय प्राप्त होती हैं।
कब है दशहरा ? :
दशमी तिथि का आरंभ : 12 अक्टूबर प्रातः 10 बजकर 58 मिनट पर
तिथि का समापन : 13 अक्टूबर 2024, प्रातः 09 बजकर 08 मिनट पर
ऐसे में दशहरा 12 अक्टूबर 2024 को मनाया जाएगा। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार विजयदशमी के दिन श्रवण नक्षत्र का होना बहुत शुभ होता है, और इस साल इसका संयोग बन रहा है। बता दें श्रवण नक्षत्र 12 अक्टूबर को सुबह 5:00 बजकर 25 मिनट से प्रारंभ होकर 13 अक्टूबर को सुबह 4:27 मिनट पर समाप्त हो रहा है।
पूजा का शुभ मुहूर्त : इस साल दशहरा पूजन के लिए शुभ मुहूर्त दोपहर 2 बजकर 2 मिनट से शुरू होगा, जो दोपहर 2: 48 तक रहेगा। मुहूर्त की कुल अवधि लगभग 46 मिनट तक रहेगी।