नई दिल्ली : लालकिले बम धमाका के बाद आतंकी डॉक्टर मोहम्मद उमर नबी का एक पैर का पंजा और इंजन के पुर्जों में चिपके मांस के टुकड़े ही मिले हैं। शरीर का बाकी हिस्सा विस्फोट में उड़ गया। पैर का पंजा आगे के टायर की व्हील के नीचे मिला था। इस पंजे और इंजन के पुर्जों से चिपके मिले मांस के टुकड़ों की डीएनए जांच से पता लगा कि मरने वाला उमर नबी ही था।
पुलिस को उमर के शरीर के इन हिस्सों के अलावा मौके से कोई अंग नहीं मिला है। माना जा रहा है कि कुछ दूर जाकर गिरे अंगों को पंछी-जानवर खा गए होंगे। विस्फोटक के कार के पीछे की सीट पर रखे होने की बात कही जा रही है।
बम धमाके के पास सबसे पहले पहुंचने वाले एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि धमाका इतना जबरदस्त था कि कार पूरी तरह खत्म हो गई। कार के इंजन का कुछ हिस्सा मौके पर मिला था। इस पुलिस अधिकारी ने बताया कि उमर नबी के शरीर के अंग 250 फुट की दूरी तक गए थे। वहीं कार के पुर्जे 300 से 350 फुट दूर तक गए हैं। इस पुलिस अधिकारी ने बताया कि कार की स्टीयरिंग जैन मंदिर के सामने मिली थी। धमाके से लाल किला चौकी की दीवार भी बुरी तरह छतिग्रस्त हो गई। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि उमर के शरीर के बाकी अंग बचे नहीं हैं और बचे हैं तो वह मिल नहीं रहे हैं। अंगों की तलाश की जा रही है।
फरीदाबाद में सुरक्षा एजेंसियों की जब दबिश बढ़ी तो उमर नबी फिरोजपुर और मेवात की तरफ भागा। वह नूंह की ओर से हलीलपुर से पहले दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे पर चढ़ा था। वह नौ नवंबर की रात से 10 नवंबर की सुबह तक भागता रहा। इसके बाद वह फिरोजपुर की ओर चला गया। यहां एक घंटे गायब रहा फिर वापस लौटा। ये दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे से वापस फरीदाबाद आ रहा था। दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे पर इसने हलीलपुर टोल के पास कार साइड में लगाई और कार में 3:15 घंटे सोया था। इसके बाद ये नूंह की तरफ से दिल्ली मुंबई एक्सप्रेस वे से फरीदाबाद की ओर उतरा था।
दिल्ली पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि (सीसीटीवी फुटेज में) कार की पिछली सीट पर एक बड़ा बैग भी रखा हुआ देखा जा सकता है, जिसके बारे में माना जा रहा है कि उसमें विस्फोटक रखा हुआ था। पुलिस अधिकारियों के अनुसार विस्फोटक सफेद रंग के कट्टे में रखा हुआ था।
उत्तरी जिले के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि जब धमाका हुआ तो लालकिला चौकी का स्टाफ चौकी में मौजूद था। चौकी प्रभारी विनोद नैन भी चौकी में थे। धमाके बाद ये स्टाफ सबसे पहले पहुंचा था। इस स्टाफ ने ही घायलों को सबसे पहले अस्पताल पहुंचाया था। पुलिसकर्मियों ने देखा कि एक घायल के ई-रिक्शा का सरिया उसके आर-पार हो चुका है। पुलिसकर्मी उसे ऐसे ही उठाकर अस्पताल ले गए थे।
उतरी दिल्ली पुलिस अधिकारियों के अनुसार धमाके बाद जब पुलिसकर्मी लालकिले चौकी से बाहर आए तो देखा कि धमाके वाली कार के आगे वाली कार में एक व्यक्ति जिंदा जल रहा है। पुलिसकर्मियों ने उस व्यक्ति को कार से निकाला। आग बुझाकर उसे अस्पताल में भर्ती कराया।
